बढ़ते प्रदूषण से श्री गंगानगर में लगा सांसों पर आपातकाल, बढ़कर 440 पर पंहुचा एक्यूआई
वहीं दूसरी तरफ देश में चित्तूर की हवा सबसे ज्यादा साफ है, जहां वायु गुणवत्ता सूचकांक 24 दर्ज किया गया। यदि श्री गंगानगर में ...
इस साल जून से अगस्त के दौरान ला नीना की वापसी के 50 फीसदी आसार: डब्ल्यूएमओ
ला नीना के दौरान मध्य और पूर्वी भूमध्यरेखीय प्रशांत महासागर में समुद्र की सतह के तापमान में भारी गिरावट आती है
पंजाब, हरियाणा और दिल्ली में गर्म हवाओं के साथ धूल भरी आंधी, यहां जमकर बरसेंगे बादल
अगले तीन दिनों के दौरान दक्षिण-पश्चिम मॉनसून के मध्य अरब सागर, कर्नाटक के शेष इलाकों, दक्षिण महाराष्ट्र के कुछ हिस्सों, तेलंगाना और तटीय आंध्र ...
कर्नाटक के बाकी हिस्से में सूखा, लेकिन भारी बारिश ने बेंगलुरु का 133 साल पुराना बारिश का रिकॉर्ड तोड़ा
कर्नाटक की राजधानी चरम मौसम की घटनाओं की अंतहीन श्रृंखला का नवीनतम शिकार बनी
आनुवांशिक बीमारियों से असमय मृत्यु के जोखिम को 62 फीसदी कम कर सकती है बेहतर जीवनशैली
रिसर्च में सामने आया है कि स्वस्थ जीवनशैली, जीवन प्रत्याशा को कम करने वाली जीनों के प्रभाव को 62 फीसदी तक कम कर सकती ...
बर्फ में छोटी सी गड़बड़ी भी विशाल ग्लेशियरों के प्रवाह पर भारी असर डाल सकती है: अध्ययन
हाल के वर्षों में, महासागरों में अभूतपूर्व दर से वृद्धि हुई है, जो ग्लोबल वार्मिंग के कारण ग्लेशियरों और बर्फ की चादरों के तेजी ...
विश्व पर्यावरण दिवस 2024: किसानों के विरोध-प्रदर्शनों का साल रहा 2023
डाउन टू अर्थ और सेंटर फॉर साइंस एंड एनवायरमेंट की सालाना रिपोर्ट स्टेट ऑफ इंडियाज एनवायरमेंट इन फिगर्स 2024 में आंकड़ों के माध्यम से ...
नदियों-नालों में बढ़ते अपघटन से बढ़ा ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन, जैव विविधता को भारी खतरा
150 से अधिक शोधकर्ताओं ने दुनिया भर की 550 नदियों के आंकड़ों के आधार पर दुनिया भर में नदियों और धाराओं में अपघटन दरों ...
डाउन टू अर्थ हिंदी प्रिंट संस्करण
जल बिन प्यासे शहर, भाग एक: क्यों बेंगलुरु में बूंद-बूंद पानी के लिए तरस रहे लोग, कहां रह गई कमी?
बेंगलुरु का विकास ही इसकी झीलों और तालाबों को खत्म करके किया गया है, जोकि हमारे पानी की सुरक्षा के लिए बहुत जरूरी हैं
जल बिन प्यासे शहर, भाग दो: जलसंकट से उबरने के लिए बेंगलुरु को करने होंगे ये काम
शहर को पानी की किल्लत से निपटने के लिए रिचार्ज, दोबारा इस्तेमाल और रिसाइकल करना जरूरी है
जल बिन प्यासे शहर, भाग तीन: डे जीरो की ओर बढ़ रहे महानगर, बेंगलुरु बना मिसाल
बेंगलुरु में भूजल दोहन लगातार बढ़ रहा है, शहर में 4 लाख से अधिक ट्यूबवेल हैं। वहीं भूजल रिचार्ज भी पर्याप्त मात्रा में नहीं ...