प्रोटीन की खोज से मलेरिया की नई और असरकारक दवा के लिए खुले रास्ते
यह खोज मलेरिया के घातक संक्रमण से निपटने के लिए नए टीकों या उपचार का मार्ग प्रशस्त कर सकती है
अल नीनो प्रभाव: दुनिया में बढ़ रहे डेंगू के मामले, स्वास्थ्य क्षेत्र में बढ़ सकती हैं परेशानियां
दुनिया भर में डेंगू के बढ़ते मामलों के लिए तापमान में होती वृद्धि और बारिश के पैटर्न में आता बदलाव जिम्मेवार है
क्यों और कब से मनाया जाता है विश्व मलेरिया दिवस, क्या है इस साल की थीम
मलेरिया रोग के बोझ को कम करने और जीवन बचाने के लिए नई खोज और इनोवेशन जरूरी
डेंगू के वायरस को और खतरनाक बना रही है बदलती जलवायु, वैज्ञानिकों ने चेताया
वैज्ञानिकों के मुताबिक, दुनिया भर में जलवायु परिवर्तन ने डेंगू फैलाने वाले मच्छरों को दुनिया के नए लेकिन अब गर्म क्षेत्रों में अपना विस्तार ...
अफ्रीका का तीसरा मलेरिया मुक्त देश बना केप वर्डे
1973 में अफ्रीकी देश मॉरीशस और 2019 में अल्जीरिया को मलेरिया मुक्त देश का दर्जा मिल चुका है
मील का पत्थर: डब्ल्यूएचओ ने अजरबैजान और ताजिकिस्तान को मलेरिया मुक्त किया घोषित
वैश्विक स्तर पर अब तक कुल 42 देश और क्षेत्र मलेरिया मुक्त हो चुके हैं
उत्तर प्रदेश, कोलकाता, तमिलनाडु सहित कई राज्यों में बढ़ रहा डेंगू का प्रकोप
पिछले सप्ताह उत्तर प्रदेश, कोलकाता और तमिलनाडु में डेंगू के मामलों में वृद्धि दर्ज की गई है।
कॉप-28 शुरू होने से पहले आई लैंसेट काउंटडाउन रिपोर्ट में सामने आए डरावने आंकड़े
रिपोर्ट के मुताबिक, 1991 से 2000 और 2013 से 2022 तक गर्मी से मरने वाले 65 वर्ष से अधिक उम्र के लोगों की संख्या ...
कीटों से होने वाली बीमारियों को नियंत्रित करने के लिए कीटनाशकों के छिड़काव का नया मैनुअल जारी
कीटनाशकों के छिड़काव को लेकर इस मैनुअल या मार्गदर्शिका में मलेरिया समेत अन्य अन्य वेक्टर-जनित बीमारियों को शामिल किया गया है
चिकनगुनिया से संक्रमित होने के तीन महीने बाद तक बना रहता है मृत्यु का जोखिम: लैंसेट
जलवायु में आते बदलावों, शहरीकरण और मानव गतिशीलता में वृद्धि के चलते एडीज मच्छरों से होने वाली बीमारियों के फैलने का खतरा भी बढ़ ...
जीका फैलाने वाले मच्छरों के अंडे सूखने के बाद भी अनिश्चित काल तक रहते हैं जीवित: अध्ययन
एडीज मच्छर के अंडे पूरी तरह से सूखने के बाद अनिश्चित काल तक जीवित रह सकते हैं और लार्वा में बदल जाते हैं, इस ...
जलवायु परिवर्तन और गैर संचारी रोगों के बीच क्या हैं संबंध, क्या कहता है डब्ल्यूएचओ, यहां जानें
जलवायु परिवर्तन कई तरह से स्वास्थ्य पर बुरा असर डाल रहा है, जिसमें लू, तूफान और बाढ़ जैसी चरम मौसम की घटनाओं से मृत्यु, ...
क्या आपके साबुन की गंध से मच्छर हो सकते हैं आकर्षित, जानिए क्या कहती है रिसर्च
रिसर्च के मुताबिक मच्छर केवल खून ही नहीं पीते, यह अपने भोजन के लिए फूलों के नेक्टर पर भी निर्भर करते हैं। ऐसे में ...
मच्छरों के जीन में बदलाव करके वैज्ञानिकों ने खोजा मलेरिया से निपटने का उपाय
वैज्ञानिकों ने मादा मच्छरों की आबादी को रोकने के लिए जीन ड्राइव तकनीक का इस्तेमाल किया है
जंगली पक्षियों की करीब 14 फीसदी आबादी को प्रभावित कर रहा है एवियन मलेरिया
अध्ययन के अनुसार पक्षियों को प्रभावित करने वाला यह एवियन मलेरिया इसके प्रसार के लिए हॉटस्पॉट बन चुके क्षेत्रों में बड़ी तेजी से फैल रहा ...
यूरोप, चीन, अमेरिका और जापान में भी फैल सकता है जीका वायरस
ठन्डे इलाकों में बढ़ता तापमान, जलवायु को जीका वायरस के फैलने के अनुकूल बना रहा है|
इम्यून सिस्टम से बचने के लिए क्या तकनीक अपनाता है मलेरिया परजीवी 'प्लास्मोडियम फैल्सीपेरम'
वैज्ञानिकों ने इस गुत्थी को सुलझा लेने का दावा किया है कि किस तरह मलेरिया परजीवी 'प्लास्मोडियम फैल्सीपेरम' इम्यून सिस्टम को चकमा देने में ...
भारत में मलेरिया परजीवियों का पता लगाने के लिए वैज्ञानिकों ने खोजा नया तरीका
वैज्ञानिकों के अनुसार, प्लास्मोडियम विवैक्स मलेरिया परजीवी संक्रमण के बाद वर्षों तक किसी व्यक्ति के लीवर की कोशिकाओं में निष्क्रिय रूप में रह सकता ...
घातक बीमारियों को फैलाने वाले आक्रामक मच्छरों की निगरानी के लिए लॉन्च हुआ डैशबोर्ड
डैशबोर्ड तीन ऐप के आंकड़ों को जोड़ता है, मॉस्किटो अलर्ट, ग्लोब ऑब्जर्वर और आईनेचुरलिस्ट, जहां दुनिया भर के लोग अपने स्मार्टफोन का उपयोग करके ...
आवरण कथा: मलेरिया, डेंगू और अब जीका वायरस.... मच्छर जनित बीमारियों का दोषी कौन?
मच्छरों से मुक्ति की कामना करने वाले उत्तर प्रदेश में भावी पीढ़ियों की सेहत पर खतरा मंडराने लगा है
महिला विमर्श: नहीं बदली है माहवारी से जुड़ी अवधारणाएं
माहवारी शुरू होने के समय लड़कियों को डेढ़ लोटा पानी से स्नान करवाया जाता है। इसके बाद उसे घर के कई सामानों को छूने ...
भारतीय वैज्ञानिकों ने विसरल लीशमैनियासिस बीमारी के उपचार का तरीका खोजा
यह बीमारी हर साल लाखों लोगों को प्रभावित करती है, जिससे यह मलेरिया के बाद मच्छर से होने वाली दूसरी सबसे आम घातक बीमारी ...
1970 से 94.6 लाख करोड़ रुपए का नुकसान कर चुकी हैं विदेशी आक्रामक प्रजातियां
इससे होने वाले वार्षिक नुकसान करीब 196,816 करोड़ रुपए है| जो कम होने की जगह हर दशक तीन गुना हो जाता है
विश्व शहर दिवस: 2050 तक शहरों में रहने लगेंगे 10 में से 7 लोग
आज दुनिया की लगभग 55 प्रतिशत आबादी कस्बों और शहरों में रहती है, शहरीकरण का स्तर 2050 तक लगभग 70 प्रतिशत तक पहुंचने का ...
स्मार्टफोन ऐप से लगेगा मच्छरों का पता, मलेरिया से निपटने में मिलेगी मदद
इस तकनीक को ड्रोन और सैटेलाइट इमेज के साथ जोड़ा जाता है, जिससे पहले से अज्ञात मच्छरों के प्रजनन के स्थानों की पहचान की ...