कोरोना काल में भारतीय महिलाओं को हो रही है सबसे अधिक परेशानी: रिपोर्ट
लॉकडाउन खुलने के बाद जिन महिलाओं को काम मिल भी गया, लेकिन उनकी आमदनी घट गई है
संसद में आज: लॉकडाउन में अपने गृह राज्यों में लौटे 1.04 करोड़ प्रवासी श्रमिक
संसद के दोनों सदनों में मानसून सत्र के पहले दिन क्या कुछ खास हुआ, यहां पढ़ें
कोयला खदानों के बंद होने से 2050 तक 9.90 लाख मजदूरों की हो सकती है छंटनी, भारत में भी दिखेगा असर
आधिकारिक तौर पर भारत अपनी सक्रिय खदानों में करीब 337,400 श्रमिकों को रोजगार देता है। पता चला है कि 2050 तक कोल इंडिया से जुड़ी ...
मॉनसून 2022: जून में कृषि क्षेत्र में कम हुए करीब 80 लाख मजदूर
धीमे मॉनसून और बुआई का रकबा 15 फीसदी कम होने से ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार मंदी की ओर बढ़ रहा है
जरुरत से कहीं ज्यादा तेजी से प्राकृतिक संसाधनों का दोहन कर रहे हैं देश
पिछले 30 वर्षों में कोई भी देश ऐसा नहीं है जिसने पर्यावरण को संकट में डाले बिना अपने नागरिकों की बुनियादी जरूरतों को पूरा ...
2019 की तुलना में 1.3 करोड़ महिलाओं के पास अभी भी नहीं है रोजगार
2021 में कामकाजी उम्र की केवल 43.2 फीसदी महिलाओं को ही रोजगार मिलने की सम्भावना है, वहीं पुरुषों में यह आंकड़ा 68.6 फीसदी रहने ...
अक्टूबर में 7 फीसदी के करीब पहुंची भारत की बेरोजगारी दर
अक्टूबर के महीने में बेरोजगारी दर 6.98 फीसदी दर्ज की गई है
कोरोना और तकनीकी विकास के चलते खतरे में हैं 8.5 करोड़ नौकरियां
वर्ल्ड इकनोमिक फोरम की रिपोर्ट 'फ्यूचर ऑफ जॉब्स 2020' से पता चला है कि कोरोना के चलते जॉब मार्केट में बहुत तेजी से बदलाव ...
साल के अंत तक 8.6 करोड़ बच्चों को गरीबी में धकेल देगा कोरोनावायरस
कोरोना महामारी से आए आर्थिक संकट के चलते पहले से गरीबी का बोझ ढो रहे बच्चों की संख्या बढ़कर 67.2 करोड़ हो सकती है
मॉनसून में कमी के चलते ग्रामीण इलाकों में बढ़ी मनरेगा के तहत काम की मांग
बारिश की कमी से कुछ राज्यों में काम की मांग कोविड-19 महामारी की तुलना में भी अधिक है
कोरोनावायरस का असर : 2.5 करोड़ बेरोजगार, 4 करोड़ गरीब, 13 करोड़ भुखमरी के शिकार
पर्यावरण की दशा-दिशा 2020: कोरोनावायरस की वजह से साल 2020 भारत को काफी जख्म दे जाएगा
वैश्विक मंदी का सामना करती दुनिया, चार दशकों में सबसे निचले स्तर पर पहुंचा आर्थिक विकास
संयुक्त राष्ट्र द्वारा जारी नवीनतम ट्रेड एंड डेवलपमेंट रिपोर्ट इस बात पर प्रकाश डालती है कि देशों के बीच मौजूद असमानताएं और असमान विकास, ...
यूक्रेन संकट: युद्ध की भेंट चढ़ गया 48 लाख लोगों का रोजगार
यूक्रेन और रूस के बीच होते टकराव के चलते अब तक 48 लाख लोगों को अपनी नौकरियों से हाथ धोना पड़ा है, अनुमान है ...
स्टेट ऑफ इंडियाज एनवायरमेंट 2022 रिपोर्ट: 17 प्रमुख लक्ष्यों को पाने में चूक सकती है सरकार
सतत विकास लक्ष्यों (एसीडीजी) को हासिल करने में भारत पिछले दो सालों में तीन पायदान नीचे खिसका है
कोरोना संकट: दूर हुए सतत विकास के लक्ष्य
गरीबी और भूख मिटाने के सतत विकास लक्ष्यों को कोरोनावायरस की महामारी ने और मुश्किल बना दिया है
महामारी के बाद बढ़े अवसर, लेकिन अभी भी 25 वर्ष से कम उम्र के 42.3 फीसदी ग्रेजुएट हैं बेरोजगार
छह से 10 किलोमीटर की यात्रा के लिए 37 फीसदी महिलाएं जहां सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करती हैं, वहीं इस दूरी की यात्रा के ...
बिहार चुनाव में क्यों पीछे छूट गए असली मुद्दे
मानव विकास सूचकांक में आखिरी पायदान पर खड़े बिहार में आजीविका, पलायन, खेती, स्वास्थ्य, शिक्षा, पर्यावरण जैसे सवालों का पीछे छूट जाना नाउम्मीद करता ...
बिहार चुनाव: न मनरेगा, न गरीब कल्याण रोजगार योजना आई काम
बिहार के विधानसभा चुनाव में एक बार फिर से बेरोजगारी बड़ा मुद्दा है, जबकि पहले से लागू योजनाएं सिरे नहीं चढ़ पाई
पुस्तक समीक्षा: सरकार व समाज दोनों के लिए खतरे की घंटी बजाती एक किताब
'शेड्यूल्ड कास्ट इन द इंडियन लेबर मार्केट: इम्पलायमेंट डिस्क्रिमिनेशन एंड इट्स इंपैक्ट ऑन पावर्टी' भारत की अर्थव्यवस्था में जातिगत गैरबराबरी का शोधपत्र है
कोरोनावायरस के चलते 2021 तक गरीबी के चरम स्तर पर होंगे 15 करोड़ अतिरिक्त लोग
यह आंकड़ा वर्ल्ड बैंक द्वारा अप्रैल में लगाए गए अनुमान का लगभग दोगुना है
2021 में करीब पांच लाख भारतीयों ने भारत छोड़ ओईसीडी देशों की ओर रुख किया: रिपोर्ट
इंटरनेशनल माइग्रेशन आउटलुक 2023 रिपोर्ट में जलवायु परिवर्तन के चलते अपने घरों को छोड़ने को मजबूर लोगों से जुड़ी नीतियों में होती प्रगति पर ...
कोरोना की दूसरी लहर और मनरेगा-3: बिहार में मजदूरों को मांग के मुताबिक नहीं मिल रहा काम
दूसरे राज्यों को सस्ता मजदूर मुहैया कराने वाले शीर्ष राज्यों में शुमार बिहार में मजदूरों की मांग के मुताबिक महात्मा गांधी ग्रामीण रोजगार गारंटी ...
कोविड-19 दुनिया के आधे युवाओं को बेचैनी और अवसाद में डाल सकता है : आईएलओ
युवा कोरोनावायरस महामारी के कारण अनिश्चितताओं से घिरे हैं, 38 प्रतिशत भविष्य में नौकरियों के प्रति आशंकित हैं
गरीबों को न्यूनतम आय गारंटी दी जाए
न्यूनतम आय गारंटी योजना लागू होती है तो गरीबों की सुरक्षा के लिए पैसा ट्रांसफर के काम में तेजी लाने की आवश्यकता होगी
मनरेगा में काम के दिन बढ़ने चाहिए : पूरन चंद्र किशन
राजस्थान में अप्रैल 2020 से 21 जुलाई तक 57.34 लाख परिवारों के 77.17 लाख लोगों को रोजगार मिला है